औषधीय गुणों से भरपूर लहसुन को हर मौसम में इस्तेमाल किया जा सकता है। मसालों में खास स्थान रखने वाला लहसुन कई बीमारियों से भी बचाता है। लहसुन की एक कली का नियमित सेवन करने से पेट की समस्यायें दूर होती हैं। मध्ययुग में महामारी बने प्लेग से बचने के लिए भी लहसुन का इस्तेमाल किया गया था।
लहसुन में एलियम नामक एंटीबॉयटिक पाया जाता है जो बहुत से रोगों में बचाव करता है। नियमित लहसुन का सेवन करने से ब्लड प्रेशर सामान्य रहता है। जुकाम और सर्दी में यह रामबाण की तरह काम करता है। आइए हम आपको लहसुन के गुणों के बारे में बताते हैं।
‘एनल्स आफ इंटरनल मेडिसिन’ की रिपोर्ट के मुताबिक हर हफ्ते पांच कली लहसुन खाने से कैंसर का खतरा 30 से 40 फीसदी कम हो जाता है
इसका नियमित सेवन करने से ब्लड प्रेशर सामान्य रहता है।
पेट की समस्याओं के लिए यह रामबाण की तरह है, लहसुन खाने से एसिडिटी नही होती है।
‘जर्नल आफ न्यूट्रीशन’ के मुताबिक रोजाना लहसुन के सेवन से कोलेस्ट्राल में 10 फीसदी की गिरावट आती है, जिससे हृदयरोगों की संभावना कम हो जाती है।
इसे पीसकर त्वचा पर लेप करने से विषैले कीड़ों के काटने या डंक मारने से होने वाली जलन कम हो जाती है।
सर्दी-जुकाम में लहसुन रामबाण है, इसे दूध में उबालकर पिलाने से बच्चों में रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है।
इसे भूनकर खाने से सांस चलने की तकलीफ पर काबू पाया जा सकता है।
गठिया और जोड़ों के अन्य रोगों में भी यह काफी लाभदायक है।
इसके सेवन से रक्तवाहिनियों में थक्का बनने की आशंका कम होती है जिससे हार्ट अटैक का खतरा कम होता है।
लहसुन में आयरन पर्याप्त मात्रा में पाया जाता है जो खून के निर्माण में सहायक होता है।
इसमें मौजूद विटामिन सी स्कर्वी रोग से भी बचाता है।
गठिया और जोड़ों के रोगों में लहसुन का सेवन बहुत लाभदायक है, लहसुन खाने से जोड़ों के दर्द में आराम मिलता है।
साभार - HZ
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लहसुन में एलियम नामक एंटीबॉयटिक पाया जाता है जो बहुत से रोगों में बचाव करता है। नियमित लहसुन का सेवन करने से ब्लड प्रेशर सामान्य रहता है। जुकाम और सर्दी में यह रामबाण की तरह काम करता है। आइए हम आपको लहसुन के गुणों के बारे में बताते हैं।
‘एनल्स आफ इंटरनल मेडिसिन’ की रिपोर्ट के मुताबिक हर हफ्ते पांच कली लहसुन खाने से कैंसर का खतरा 30 से 40 फीसदी कम हो जाता है
इसका नियमित सेवन करने से ब्लड प्रेशर सामान्य रहता है।
पेट की समस्याओं के लिए यह रामबाण की तरह है, लहसुन खाने से एसिडिटी नही होती है।
‘जर्नल आफ न्यूट्रीशन’ के मुताबिक रोजाना लहसुन के सेवन से कोलेस्ट्राल में 10 फीसदी की गिरावट आती है, जिससे हृदयरोगों की संभावना कम हो जाती है।
इसे पीसकर त्वचा पर लेप करने से विषैले कीड़ों के काटने या डंक मारने से होने वाली जलन कम हो जाती है।
सर्दी-जुकाम में लहसुन रामबाण है, इसे दूध में उबालकर पिलाने से बच्चों में रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है।
इसे भूनकर खाने से सांस चलने की तकलीफ पर काबू पाया जा सकता है।
गठिया और जोड़ों के अन्य रोगों में भी यह काफी लाभदायक है।
इसके सेवन से रक्तवाहिनियों में थक्का बनने की आशंका कम होती है जिससे हार्ट अटैक का खतरा कम होता है।
लहसुन में आयरन पर्याप्त मात्रा में पाया जाता है जो खून के निर्माण में सहायक होता है।
इसमें मौजूद विटामिन सी स्कर्वी रोग से भी बचाता है।
गठिया और जोड़ों के रोगों में लहसुन का सेवन बहुत लाभदायक है, लहसुन खाने से जोड़ों के दर्द में आराम मिलता है।
साभार - HZ
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